पिथौरागढ़। भारत और नेपाल के बीच रोटी-बेटी के रिश्ते को आगे बढ़ाते हुए पिथौरागढ़ जिले में काली नदी पर भारत और नेपाल के बीच दो अंतरराष्ट्रीय झूला पुलों का उद्घाटन किया गया। पिथौरागढ़ जिले में दोनों देशों के बीच काली नदी पर बने अंतरराष्ट्रीय झूला पुल की संख्या अब 11 हो गई है।
बता दें कि सीमांत जिले पिथौरागढ़ में भारत और नेपाल के बीच बहने वाले काली नदी पर दो पुलों का निर्माण किया गया है। दोनों अंतरराष्ट्रीय झूला पुलों का पिथौरागढ़ की जिलाधिकारी और नेपाल के दार्चूला के सीडीओ दीर्घराज उपाध्याय ने संयुक्त रूप से उद्घाटन किया। इन दोनों पुलों के बनने के बाद भारत और नेपाल के बीच आवाजाही पहले से सुगम हो जाएगी और दोनों ही देशों के लोगों को इसका लाभ मिलेगा।
काली नदी पर बने दो पुलों से आवागमन हुआ आसान
पहला पुल धारचूला तहसील क्षेत्र के गस्कू में बनाया गया है, जो करीब 140 मीटर लंबा है और दूसरा झूला पुल मलघट्या में बनाया गया है, जिसकी लंबाई करीब 135 मीटर है। जानकारी के मुताबिक दोनों झूला पुलों की क्षमता करीब 42 टन है। बता दें कि इन दोंनों पुलों के निर्माण के बाद पिथौरागढ़ जिले में भारत और नेपाल के बीच बहने वाले काली पर बने पुलों की संख्या 11 हो गई है।
10 हजार की आबादी को मिलेगा लाभ
इन दोनों पुलों के बनने के बाद दोनों देशों की करीब 10 हजार की आबादी को लाभ मिलेगा। अब भारत से नेपाल जाने या फिर नेपाल से भारत आने में दोनों देशों के लोगों को लंबी दूरी तय नहीं करनी पड़ेगी। बता दें कि गस्कू और मलघट्या में लंबे समय से झूला पुलों की मांग जा रही थी, जिस पर दोनों देशों की सरकार ने विचार किया और लोगों की सहूलियत को देखते हुए यहां पर पुल बना बनाने का निर्णय लिया। पुल बनने के बाद उनका उद्घाटन किया गया। बता दें कि पिथौरागढ़ जिले की धारचूला तहसील क्षेत्र में ही भारत और नेपाल के बीच डबन लेन का स्टील गार्डर मोटर पुल का निर्माण भी किया जा रहा है।