गैरसैंण: यह संयोग है कि ठीक एक वर्ष पहले मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह ने गैरसैंण में राज्य सरकार का बजट पेश किया था। उन्होंने अपने बजट भाषण के दौरान ऐतिहासिक निर्णय लेते हुए गैरसैंण को प्रदेश की ग्रीष्मकालीन राजधानी घोषित की। पृथक राज्य आंदोलन की भावनाओं का सम्मान करते हुए मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह ने लगभग उपेक्षित हो चुके गैरसैंण को ग्रीष्मकालीन राजधानी घोषित कर इतिहास रच दिया था। आज फिर सीएम त्रिवेन्द्र सिंह एक बार फिर गैरसैंण में राज्य का वार्षिक बजट पेश करेंगे। यह उनकी सरकार का पांचवां बजट होगा। लिहाजा प्रदेशभर से लोगों की निगाहें गैरसैंण पर टिकी हैं। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह से प्रदेश के लोगों को भारी उम्मीदें हैं कि वह इस बजट में आम लोगों का ख्याल रख भविष्य के उत्तराखंड की मजबूत नींव रखेंगे।
त्रिवेंद्र सिंह रावत शाम चार बजे विधानभवन में बजट पेश करेगे। आज सुबह 11 बजे विधानसभा सत्र के चौथे दिन सदन की कार्यवाही शुरू हो गई। वित्तीय वर्ष 2021-22 के लिए बजट का आकार करीब 56 हजार 900 करोड़ रुपये रखा गया है। गैरसैंण में त्रिवेंद्र सिंह रावत सरकार का यह दूसरा बजट है। बीते वर्ष भी चार मार्च को ही सरकार ने वर्ष 2020-21 के लिए बजट पेश किया था। बजट पेश करने वाले दिन ही गैरसैंण को ग्रीष्मकालीन राजधानी बनाने की मुख्यमंत्री की घोषणा को बड़े गेमचेंजर के रूप में देखा गया। खास बात ये है कि इस बार भी नए वित्तीय वर्ष के लिए बजट पेश करने की तिथि चार मार्च ही तय की गई है।
बजट सत्र के चैथे दिन आज सदन की कार्यवाही सुचारू रूप से शुरू हुई। सदन की कार्यवाही शुरू होने पर विधानसभा अध्यक्ष ने सभी संदस्यो को ग्रीष्मकालीन राजधानी बनने के एक साल पूरे होने पर बधाई और शुभकामनाएं दी। इससे पूर्व विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचन्द अग्रवाल ने भराड़ीसैण विधानसभा भवन में विक्टोरिया क्रॉस गब्बर सिंह को श्रद्धांजलि दी गई। प्रश्नकाल शुरू होते ही कृषि मंत्री सुबोध उनियाल से जैविक खेती और उसकी नीति को लेकर सवाल पूछा गया।