नई टिहरीः टिहरी झील पर बना एशिया का सबसे लम्बा डोबरा-चांठी झूला पुल आवाजाही के लिए तैयार है। इस पुल से हजारों लोगों को आवाजाही की सुविधा मिलेगी। लेकिन पुल के एक छोर पर बसे चांठी गांव के लोग खासे मायूस हैं। उनकी मायूसी का कारण उनकी वह जमीन है, जो डोबरा-चांठी पुल के लिए अधिग्रहित की गई। गांव के काश्तकारों का कहना है कि पुल के निर्माण के लिए सरकार ने उनकी कृषि भूमि का अधिग्रहण किया था। लेकिन आज तक उन्हें अधिग्रहित भूमि का कोई मुआवजा नहीं मिला है।
ग्रामीणों का आरोप है कि कई बार प्रशासन को इस बावत अवगत भी कराया लेकिन मामला ढाक के तीन पात रहा। चांठी गांव के लोगों का कहना है कि अब जब पुल बन गया है, ऐसे में हमें मुआवजे की कोई उम्मीद नहीं दिखाई देती है। इसलिए जिला प्रशासन हमारी जमीन को डेवलप कर हमें वापस सौंप दे। ग्रामीणों की फसली भूमि वापस दिलाने के लिए प्रतापनगर के पूर्व विधायक विक्रम सिंह नेगी के नेतृत्व में एक प्रतिनिधि मंडल ने जिलाधिकारी टिहरी से मुलाकात की और उन्हें मामले से अवगत कराया।
काश्तकारों की मांग
कांग्रेस के फायर ब्रांड नेता और प्रतापनगर के पूर्व विधायक विक्रम सिंह नेगी के नेतृत्व में आज ग्रामीणों ने जिलाधिकारी टिहरी से मुलाकात की। जिलाधिकारी से वार्ता कर प्रतिनिधिमंडल ने बताया कि डोबरा-चांठी पुल से सटे ग्रामसभा चांटी के काश्तकारों की कुछ भूमि पुल निर्माण हेतु अधिग्रहित की गई थी। लेकिन काश्तकारों को अभी तक अधिग्रहित भूमि का मुआवजा नहीं मिल पाया है। जोकि प्रशासन की घोर लापरवाही है। जिलाधिकारी से वार्ता करते हुए पूर्व विधायक ने कहा कि अब जब डोबरा-चांठी पुल तैयार हो गया है और किसानों को उनकी भूमि का मुआवजा नहीं मिला है। लिहाजा ग्रामीण अपनी भूमि वापस लेना चाहते हैं। उन्होंने कहा किसान अधिग्रहित जमीन को वापस चाहता है लेकिन उसे वह जमीन डेवलप कर दिया जाय।
विक्रम बोले होगी बगावत
काश्तकारों ने जिलाधिकारी को मामले से अवगत कराते हुए कहा कि डोबरा-चांठी पुल के मेन एंकर और विंड एंकर के निर्माण से हुए भूस्खलन के कारण काश्तकारों की कई नाली भूमि प्रभावित हुई है। ऐसे में उनकी भूमि को विकसित कर वापस काश्तकारों को आवंटित किया जाए। पूर्व विधायक विक्रम सिंह नेगी ने कहा कि डोबरा-चांठी पुल के उद्घाटन से पहले काश्तकारों की समस्या हल की जाय। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि अगर काश्तकारों की समस्या को नहीं सुलझाया गया तो काश्तकार मजबूर होकर पुल पर धरना देने के लिए बाध्य होंगे। जिसकी जिम्मेदारी जिला प्रशासन की होगी।
डीएम ने गठित की समिति
काश्तकारों के प्रतिनिधिमंडल की जायज मांग पर जिलाधिकारी टिहरी ने उप जिलाधिकारी प्रतापनगर की अध्यक्षता में एक कमेटी गठित की। उक्त कमेटी में अधिशासी अभियंता पुनर्वास और अधिशासी अभियंता डोबरा पुल को सदस्य नामित किया गया। जिलाधिकारी ने स्पष्ट किया कि कमेटी जल्द से जल्द जांच कर काश्तकारों की समस्या हल करे।
इस अवसर पर जिला कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष राकेश राणा, जिला उपाध्यक्ष मान सिंह रौतेल, प्रेम सिंह राव, प्रधान कोमल दास, क्षेत्र पंचायत सदस्य प्रतिनिधि अर्जुन दास, हरीश चंद्र सिंह रावत, मोहन सिंह बिष्ट, पूर्व प्रधान गोकुल सिंह बिष्ट, विजेंद्र सिंह रावत, टीकम सिंह बिष्ट, पवन सिंह बिष्ट, केसर सिंह बिष्ट, त्रिलोक सिंह बिष्ट, मातबर सिंह बिष्ट, आदि मौजूद रहे।