देहरादून मेयर सुनील उनियाल गामा की मुश्किलें बढ़ने वाली है। दरअसल, एक आरटीआई के माध्यम से खुलासा हुआ है कि देहरादून मेयर सुनील उनियाल गामा की संपत्ति 5 सालों में आय से अधिक 10 गुना बढ़ी है। साथ ही यह भी खुलासा हुआ है कि मेयर बनने के बाद 11 संपत्तियां खरीदी गई जिसका बाजार मूल्य 20 करोड़ रुपए है। वहीं इस पूरे मामले को लेकर राजनीति भी गरमा गई है। इस मुद्दे को लेकर कांग्रेस भारतीय जनता पार्टी पर हमलावर हो गई है। कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने आज देहरादून कांग्रेस मुख्यालय में प्रेस वार्ता करते हुए भाजपा सरकार पर निशाना साधा।
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने आज देहरादून कांग्रेस मुख्यालय में प्रेस वार्ता करते हुए भाजपा सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि भाजपा सरकार भ्रष्टाचार में पूरी तरीके से लिप्त हो चुकी है। भाजपा के मेयर की संपत्ति 5 सालों में 10 गुना बढ़ी है साथ ही मेयर बनने के बाद 11 संपत्ति खरीदी गई है जिसका बाजार मूल्य 20 करोड़ रुपए से अधिक है। कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि इस पूरे मामले में पहले तो देहरादून मेयर सुनील उनियाल गामा को इस्तीफा देकर जांच में सहयोग देना चाहिए साथ ही सरकार को भी स्पष्टीकरण देना चाहिए।
क्या है पूरा मामला?
आरटीआई एक्टिविस्ट और एडवोकेट विकेश सिंह नेगी ने देहरादून के महापौर सुनील उनियाल गामा पर अपने पद का दुरूपयोग कर आय से अधिक संपत्ति जुटाने का आरोप लगाया है। आरटीआई एक्टिविस्ट एडवोकेट विकेश सिंह नेगी ने आरोप लगाया है कि मेयर गामा ने अपने लोकसेवक पद का दुरुपयोग करते हुए आय से कहीं अधिक संपत्ति अर्जित की है। उनके अनुसार मेयर बनने के बाद गामा ने 5 करोड़ 32 लाख रुपये में 11 संपत्तियां खरीदी हैं। इसका बाजार मूल्य 20 करोड़ से भी अधिक है। उन्होंने मेयर गामा की शिकायत विजिलेंस को की है। उन्होंने इस मामले की उच्चस्तरीय जांच करने की मांग की है।
आरटीआई एक्टिविस्ट एडवोकेट विकेश सिंह नेगी के मुताबिक 2018 में हुए चुनाव के समय सुनील उनियाल गामा ने लगभग सवा दो करोड़ की चल-अचल संपत्ति की घोषणा का शपथ पत्र दाखिल किया था। इसमें उनके पास छरबा विकास नगर में 12600 वर्ग और 4500 वर्ग गज का प्लाट, बंजारवाला में 260 वर्ग गज का प्लाट, कालागांव और डोभालवाला में 200-200 वर्ग गज का प्लाट और डोभालवाला में ही 333 वर्ग गज का प्लाट बताया। इसका मूल्य उन्होंने लगभग सवा दो करोड़ बताया।
एडवोकेट विकेश सिंह नेगी के अनुसार मेयर बनने के बाद उन्होंने अपने, अपनी पत्नी शोभा उनियाल, पुत्र शाश्वत के नाम से 11 विभिन्न संपत्तियां खरीदीं। राजस्व रिकार्ड में जिसकी कीमत 5 करोड़ 32 लाख 20 हजार है। एडवोकेट विकेश सिंह नेगी के मुताबिक इस संपत्ति का बाजार मूल्य 20 करोड़ से भी अधिक है। उन्होंने कहा कि एक लोकसेवक ने आय से कहीं अधिक संपत्ति खरीदी हैं जो कि भ्रष्टाचार की श्रेणी में आता है। उन्होंने बताया कि इस मामले की शिकायत संपूर्ण दस्तावेजों के साथ विजिलेंस को कर दी है। उन्होंने कहा कि मेयर गामा ने एक संपत्ति चुनाव लड़ने से पहले खरीद ली थी, लेकिन उसका उल्लेख चुनावी शपथपत्र में नहीं किया। यह चुनाव अधिनियम के खिलाफ है। चुनाव आयोग को इसकी शिकायत की जा रही है।